
पुरानी पेंशन योजना बहाली पर नया अपडेट
Old Pension Scheme Update: दो राज्यों के चुनाव होने के बाद एवं उनका परिणाम घोषित होने के साथ ही हिमाचल प्रदेश के राज्य कर्मचारियों की पुरानी पेंशन (Old Pension Scheme) को लेकर उम्मीदें बढ़ गई हैं. कांग्रेस की तरफ से हिमाचल चुनाव में जारी घोषणा पत्र में सत्ता में आने पर पुरानी पेंशन योजना को लागू करने का वादा किया गया था. अब देश के दूसरे राज्यों में भी पुरानी पेंशन योजना को लेकर सरगर्मियां तेज हो गई हैं. अगले साल मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने हैं . अभी राज्य में बीजेपी की सरकार है. ऐसे में विपक्षी पार्टियां लुभावने वादे कर रही हैं.
कमलनाथ जी ने किया ट्वीट
राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा कि अगले साल यदि राज्य में कांग्रेस सत्ता में आती है तो पुरानी पेंशन योजना (old pension scheme) को बहाल किया जाएगा. उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन योजना को केंद्र की तरफ से 2004 में लागू की गई ‘नई पेंशन योजना’ से रिप्लेस किया जाएगा. कमलनाथ ने रविवार को किए गए ट्वीट में कहा कि शिवराज सरकार की तरफ से रोकी गई पेंशन को मध्य प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनने पर फिर से बहाल किया जाएगा.
वादा करके पीछे हट जाते हैं कमलनाथ’
कमलनाथ के वादे को बीजेपी के सचिव रजनीश अग्रवाल ने हल्के में लिया. उन्होंने कहा कि कमलनाथ का इतिहास लोगों से वायदा करके उन्हें पूरा नहीं करने का रहा है. वह चुनाव से पहले किए गए वादों से पीछे हटने के लिए जाने जाते हैं. एमपी में पिछले 15 महीने के उनके शासनकाल में यही देखा गया. वह सत्ता में आने के बाद बदल जाते हैं. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सरकारी कर्मचारियों की भलाई के लिए तमाम कदम उठाएं हैं. उन्होंने यह भी कहा कि कमलनाथ ने सत्ता में आने पर बीजेपी सरकार की तरफ से शुरू की गई तमाम योजनाओं को बंद कर दिया था.
आपको बता दें कांग्रेस की तरफ से राजस्थान और छत्तीसगढ़ में पहले ही पुरानी पेंशन योजना को बहाल कर दिया गया है. इसके अलावा हिमाचल में पुरानी पेंशन को लागू करने का वादा करने के साथ कांग्रेस सत्ता में लौटी है. दूसरी तरफ पंजाब की भगवंत मान सरकार ने भी सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना को लागू कर दिया है. अब मध्य प्रदेश में पुरानी पेंशन को लागू करने का वादा कर कांग्रेसी ने चुनावी महासंग्राम को दिलचस्प बना दिया है. अब यह आने वाले समय में तय होगा कि कौन सी सरकार सत्ता में आती है?
Bhagwat Karad on Old Pension Scheme: अगर आप खुद सरकारी कर्मचारी हैं या आपके घर में कोई भी सरकारी कर्मचारी है तो यह खबर आपके काम की है. केंद्र सरकार ने कुछ राज्यों की तरफ से ‘पुरानी पेंशन योजना’ (Old Pension Scheme) को लागू करने की घोषणा पर सोमवार को लोकसभा में अपना रुख साफ कर दिया है. वित्त राज्य मंत्री डॉ. भागवत कराड (Bhagwat Karad) ने सोमवार को असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) के सवाल पर लिखित जवाब दिया. वित्त राज्य मंत्री ने अपने जवाब में ‘पुरानी पेंशन योजना’ (Old Pension Scheme) को लागू करने से साफ इंकार कर दिया है. उन्होंने अपने लिखित जवाब में कहा कि सरकार का पुरानी पेंशन योजना को लागू करने का कोई विचार नहीं है.
वित्त राज्य मंत्री के जवाब से साफ हुई स्थिति
भागवत कराड (Bhagwat Karad)ने कहा कई राज्यों ने पुरानी पेंशन (OPS) को लागू करने के लिए अपने स्तर पर नोटीफिकेशन जारी किया है. ऐसे में सरकार यह स्पष्ट करना चाहती है कि एनपीएस (NPS) के पैसे वापसी का किसी तरह का प्रावधान नहीं है. वित्त राज्य मंत्री का यह जवाब ऐसे समय में काफी अहम माना जा रहा है जब पिछले दिनों छत्तीसगढ़, झारखंड, राजस्थान और पंजाब सरकार ने राज्य कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना बहाल करने की घोषणा कर दी है.
वित्त राज्य मंत्री ने दिया लिखित जवाब
AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने लोकसभा में राज्य सरकारों की तरफ से पुरानी पेंशन योजना को बहाल किये जाने पर सवाल किये. उन्होंने पूछा कि क्या इन सरकारों ने राष्ट्रीय पेंशन स्कीम (NPS) के पैसे को वापस करने की डिमांड की है. उन्होंने सरकार ने स्थिति साफ करने की बात कही और पूछा कि क्या सरकार निकट भविष्य में पुरानी पेंशन योजना को लागू करने पर विचार कर रही है. ओवैसी के सवालों का वित्त राज्य मंत्री भागवत कराड ने लिखित जवाब दिया.
भागवत कराड सरकार का पक्ष स्पष्ट करते हुए कहा कि राजस्थान, झारखंड और छत्तीसगढ़ सरकार ने इस बारे में केंद्र सरकार / पीएफआरडीए (PFRDA) को अपने निर्णय के बारे में सूचित किया था. पंजाब सरकार ने 18 नवंबर को 2022 को पुरानी पेंशन योजना की बहाली को लेकर नोटिफिकेशन जारी किया था. राजस्थान, झारखंड और छत्तीसगढ़ सरकार की तरफ से एनपीएस के पैसे को वापस करने को लेकर प्रपोजल भेजा गया है. लेकिन पंजाब सरकार की तरफ से ऐसा कोई पत्र प्राप्त नहीं हुआ है. उन्होंने बताया कि राजस्थान, झारखंड और छत्तीसगढ़ सरकार को सूचित कर दिया गया है कि एनपीएस के पैसे को वापस करने का कोई प्रावधान नहीं है.